बहुत कुछ पीछे छूट रहा था। तेरा हंसना , यूँँ रोना, मम्मा मम्मा कह कर यूँँ आगे पीछे होना बहुत कुछ पीछे छूट रहा था। तेरा हंसना , यूँँ रोना, मम्मा मम्मा कह कर यूँँ आगे ...
सागर की लहरों जैसे हमारी कामयाबी की तरंगे वैसे ! सागर की लहरों जैसे हमारी कामयाबी की तरंगे वैसे !
अम्मी का मन पहचान लेता, उसके बच्चों के लिए क्या गल्त क्या सही है। अम्मी का मन पहचान लेता, उसके बच्चों के लिए क्या गल्त क्या सही है।
यह कविता एक बेटे के अपने माँ के प्रति स्नेह दर्शाती है| बेटा, जो अपने माँ से दूर है, अपनी माँ को याद... यह कविता एक बेटे के अपने माँ के प्रति स्नेह दर्शाती है| बेटा, जो अपने माँ से दूर...
माँ तुम कहाँ हो माँ ? कहाँ हो तुम माँ ? माँ तुम कहाँ हो माँ ? कहाँ हो तुम माँ ?
चाहती हैं एक अदद गर्म प्याली चाय और कुछ मुस्कुराहटें। चाहती हैं एक अदद गर्म प्याली चाय और कुछ मुस्कुराहटें।